Judiciary of India in hindi न्यायपालिका
सर्वोच्च न्यायालय
- सर्वोच्च न्यायालय के गठन का प्रावधान संविधान के अनुच्छेद 124 में हैं।
- सर्वोच्च न्यायालय में एक मुख्य न्यायाधीश तथा 30 अन्य न्यायाधीश होते हैं।
- सर्वोच्च न्यायालय केमुख्य न्यायाधीश की नियुक्ति राष्ट्रपति द्वारा की जाती हैं तथा अन्य न्यायाधीशों की नियुक्ति राष्ट्रपति मुख्य न्यायाधीश के परामर्श से करता हैं।
- सर्वोच्च न्यायालय के न्यायाधीश बनने की अहर्ताएं निम्न हैं –
- वह भारत का नागरिक हो।
- वह किसी उच्च न्यायालय में या दो या दो से अधिक उच्च न्यायालयों में न्यूनतम पांच वर्षो तक न्यायाधीश रहा हो।
- किसी एक या एक से अधिक उच्च न्यायालय में न्यूनतम 10 वर्ष तक अधिवक्ता रहा हो।
- राष्ट्रपति की राय में पारंगत विधिवेत्ता हो।
- सर्वोच्च न्यायालय के न्यायाधीश का कार्यकाल 65 वर्ष की आयु प्राप्त करने तक होता हैं।
- सर्वोच्च न्यायालय का न्यायाधीश अपना त्यागपत्र राष्ट्रपति को देता हैं।
- सर्वोच्च न्यायालय के न्यायाधीश को हटाने के लिए संसद के दोनों सदन अपने बहुमत, जो कि उपस्थित और मतदान करने वाले सदस्यों के 2/3 बहुमत से कम न हो, एक प्रस्ताव पारित करना पड़ेगा।
- सर्वोच्च न्यायालय के न्यायाधीशो के वेतन और भत्ते संचित निधि से भारित होते हैं।
- सर्वोच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश को वेतन 100000 रु0 तथा अन्य न्यायाधीशों को रूपये 90000 का मासिक वेतन मिलता हैं।
- भारत का सर्वोच्च न्यायालय दिल्ली में हैं।
- सर्वोच्च न्यायालय के प्रारंभिक क्षेत्राधिकार में निम्नलिखित विवाद आते हैं –
- संघ तथा एक या एक से अधिक राज्यों के बीच का विवाद
- दो या दो से अधिक राज्यों के मध्य का विवाद
- सर्वोच्च न्यायालय का मुख्य न्यायाधीश राष्ट्रपति की अनुमति लेकर दिल्ली के अतिरिक्त अन्य किसी स्थान पर सर्वोच्च न्यायालय की बैठक बुला सकता हैं। हैदराबाद और श्रीनगर में इस प्रकार की बैठके बुलाई जा चुकी हैं।
- भारत के सर्वोच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश हीरालाल जे.कानिया थे।
- न्यायायिक पुनरवलोकन का अधिकार सर्वोच्च न्यायालय को हैं।
उच्च न्यायालय
- प्रत्येक राज्य का एक उच्च न्यायालय होगा इसकी व्यवस्था अनुच्छेद 214 के अंतर्गत की गई।
- अपीलीय क्षेत्राधिकार सर्वोच्च एवं उच्च न्यायालय को प्राप्त हैं।
- संसद को वह शक्ति प्राप्त हैं की वो दो या दो से अधिक राज्यों के लिए एक ही उच्च न्यायालय की स्थापना करेगी।
- उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश की नियुक्ति राष्ट्रपति द्वारा सर्वोच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश तथा उस राज्य के राज्यपाल के परामर्श के बाद की जाती हैं। जबकि दो या दो से अधिक राज्यों के साझा उच्च न्यायालय में मुख्य न्यायाधीश की नियुक्ति राष्ट्रपति सभी राज्यों के राज्यपालों से परामर्श करके करता हैं।
- उच्च न्यायालय में अतिरिक्त न्यायाधीश की नियुक्ति राष्ट्रपति करता हैं। इस अतिरिक्त न्यायाधीश का कार्यकाल 2 वर्ष के लिए होता हैं।
- उच्च न्यायालय के न्यायाधीशों का कार्यकाल 65 वर्ष कर दिया गया है।
- उच्च न्यायालय के न्यायाधीश अपना त्यागपत्र राष्ट्रपति को देते हैं।
- उच्च न्यायालय के न्यायाधीश को शपथ राज्यपाल दिलाता हैं।
- उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश का वेतनमान 90000 रूपये मासिक तथा अन्य न्यायाधीशों का वेतनमान 80000 रूपये मासिक होता हैं।
- वर्तमान में उच्च न्यायालयों की संख्या 24 हैं।
- उच्च न्यायालय के न्यायाधीशों के वेतन भारत की संचित निधि से दिया जाता हैं।
- उच्च न्यायालय के न्यायाधीश या उच्चतम न्यायालय के न्यायाधीश किसी भी न्यायालय में विधिक व्यवसाय नहीं कर सकते हैं।
- उच्च न्यायालय, जिला न्यायालय एवं अधीनस्थ न्यायालयों पर नियंत्रण रखता हैं।
- वर्तमान में केंद्र शासित प्रदेशों में केवल दिल्ली में ही उच्च न्यायालय हैं।
अधीनस्थ न्यायालय
- संविधान के अनुच्छेद 233 में अधीनस्थ एवं जिला न्यायालयों का प्रावधान किया गया हैं।
- राज्यपाल उच्च न्यायालय के न्यायाधीश के परामर्श से जिला न्यायाधीशों की नियुक्ति करता हैं।
- जो व्यक्ति कम से कम 7 वर्षो तक किसी न्यायालय में लगातार अधिवक्ता रहा हो, उसे जिला न्यायाधीश नियुक्त किया जा सकता हैं।